सफर की दुआ हिंदी, अरबी और इंग्लिश में तर्जुमा के साथ जानें

आज यहां पर आप एक बहुत ही खूबसूरत रहमत व बरकत साथ हिफाज़त भरी दुआ यानी कि सफर की दुआ जानेंगे हमने यहां पर सफर की दुआ बहुत ही साफ और आसान लफ्ज़ों में पेेश किया है।

safar ki dua in hindi 1 Zoseme

जिसे आप आसानी से सफर की दुआ पढ़ कर अपने रगों जहन में बसा लेंगे और इसे सफर करने से पहले पढ़ेंगे जिसे आपकी हिफाज़त खुदा और उसके फ़रिश्ते करेंगे इंशाल्लाह तआला इस लिए ध्यान से पढ़ें और समझें।

सफर की दुआ हिंदी में

सुब्हानल्लजी सख़्खरालना हाज़ा वमाकुन्ना लहु मुकरिनीन व इन्ना इला रब्बिना लमुन कलिबून।

सफर की दुआ अरबी में

سُبْحَانَ الَّذِي سَخَّرَ لَنَا هَـٰذَا وَمَا كُنَّا لَهُ مُقْرِنِينَ وَإِنَّا إِلَىٰ رَبِّنَا لَمُنقَلِبُونَ

इसे भी पढ़ें:- बुरी नज़र से हिफाज़त की दुआ

सफर की दुआ इंग्लिश में

Subhanallazi Sakhraalana Haza Wamakunna Lahu Mukrineen Wa Inna illa Rabbina Lamun Kaliboon.

सफर की दुआ का तर्जुमा

पाक व बुलन्द है वह खुदा जिसने इसको हमारे बस में कर दिया हालांकि हम इसको काबू में करने वाले न थे यकिनन हम अपने परवरदिगार की तरफ लौट जानें वाले हैं।

सफर को रवाना होते वक्त जब किसी भी तरह की सवारी बाइक कार बस ट्रेन या जहाज पर सवार हो जाएं और सवारी चल पड़े तो उपर लिखी सफर की दुआ पढ़ें।

क्योंकी हज़रत अब्दुल्लाह बिन उमर से रिवायत है कि नबी ए अकरम सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम सफर पर जब भी तशरीफ फरमा होते तो 3 तीन बार ‘अल्लाहु अकबर’ कह कर दुआ को पढ़ते इसलिये दुआ का पढ़ना सुन्नत है।

जब आप सफर करते हुए मंजिल पर पहुंचे यानी सफर से अपने मंजिल या बस अड्डा स्टेशन या हवाई अड्डा पर पहुंच जाएं तो नीचे लिखी मंजिल की दुआ पढ़ें।

Safar Ki Dua In Hindi Image

अगर आप भी सफर की दुआ का इमेज सर्च कर रहे हैं तो आप की सर्च का अंजाम यहां मुकम्मल होने वाला है हमने यहां पर सफर की दुआ का इमेज भी पेश की है जिसे आप आसानी से अपने फोन गैलरी में डाउनलोड करके सहेज यानी सेव कर सकते हैं इसे फ़ायदा यह होगा कि आप बगैर नेटवर्क और इंटरनेट के भी सफर की दुआ पढ़ सकते हैं।

Safar Ki Dua
Safar Ki Dua

सफर की मंजिल की दुआ

अउजु बि कलिमातिल् लाहित ताम्माति मिन शर्रि मा ख ल क
A-Uju Bee Kalimatil Lahit Tammati Min Shari Maa Kha La Ka.

तर्जुमा:- मैं अल्लाह तआला के मुकम्मल कल्मों के साथ हर मखलूक की शरारत से पनाह चाहता हूं।

हज़रत ख़ौला बिन्त हकीम फरमाती हैं कि मैंने नबी अकरम सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम को फरमाते हुए सुना कि जो शख्स किसी मन्जिल पर उतरे और ये दुआ पढ़े तो वह उस मंज़िल से कूच करने तक हर चीज़ के नुकसान से महफूज़ रहेगा।

सफर से वापसी की दुआ

ला इलाहा इल्लल्लाहु वहदहु ला शरी क लहु लहुल मुल्कू व लहुल हम्दु व हुव अला कुल्ली शइन कदिर आइबु न ताइबू न आबिदू न साजिदू न लि रब्बिना हामिदुन।

सफर से वापसी की दुआ तर्जुमा

अल्लाह तआला के सिवा कोई इबादत के लायक नहीं वह एक है उसका कोई शरीक नहीं उसकी बादशाही है और वही लाइके तारीफ और वह हर चीज़ पर कादिर है हम लौटने वाले हैं तौबा करने वाले इबादत करने वाले सजदा करने वाले और अपने रब की तारीफ करने वाले हैं।

सफर की सुन्नत व आदाब

  • आपको जरूरत के अनुसार किसी भी दिन सफर करना चाहिए लेकिन अगर सफर में जल्दी न हो तो जुमेरात को सफर का इरादा करें।
  • सफर शुरू करने का सही और बेहतर वक्त सवेरे का है क्योंकि सुबह चलना हुजूर सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम कि सुन्नत है।
  • तन्हा सफर से बचें इससे आपकी परेशानी भी बढ़ेगी और हुजूर सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम अकेले सफर करने से बचने की ताकीद फरमाई है।
  • अगर दो से ज्यादा सफर में हैं तो किसी एक को रहबर बनाए ताकि कोई भी अपनी मनमानी से इधर उधर न जा सके क्यों की बगैर राय मस्वारा के सफ़र में बदमजगी पैदा होगी।
  • हमारी मां बहने कभी भी तन्हा सफ़र न करें औरत को हमेशा किसी महरम के साथ सफर करना चाहिए अलबत्ता सफर शहर के अन्दर हो या आधी ही दिन का क्यूं न हो।
  • एक हदीस शरीफ के मुताबिक रसूले अकरम सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम फरमाते हैं कि अल्लाह तआला और कयामत पर इमान रखने वाली औरत के लिए महरम के बगैर सफर जायज़ नहीं।
  • लिबासे सफर पहन कर अगर वक्ते मकरूह न हो तो घर में चार रकअत नफल पढ़ कर बाहर निकलें फिर अपने नजदीकी मस्जिद से रुखसत हो।

सफर की दुआ पढ़ने के कुछ बेहतरीन फ़ायदे

हम सब आशिक ए रसूल अपने रब के फर्माबरदार अपने रब के चाहने और मानने वाले हम सिर्फ़ अपने रब से पूरी उम्मीद रखते हैं इसी तरह उम्मीद डे सफर करने से पहले सफर की दुआ पढ़ते हैं और इसके कुछ बेहतरीन फ़ायदे निम्नलिखित है:-

हमने यहां पर सफर की दुआ लिखा है जिससे पढ़ कर आप खुद को सफर में आरामदायक महसूस करेगें क्योंकी इस दुआ को पढ़ने से अल्लाह तबारक व त आला अपने बन्दों की हिफाज़त के लिए फरिश्ता भेजता है जो उस आशिके रसूल को हिफाज़त करते हैं।

  1. सफर की दुआ पढ़ने से सफर में में होने वाली हर छोटी बड़ी मुश्किलों से निजात मिलती है।
  2. सफर की दुआ सफर करने से पहले पढ़ने से हम सब में अधिक साहस आता है।
  3. सफर की दुआ एक कुरान पाक की आयत है यह हमें ज्यादा से ज्यादा सुरक्षा देता है।
  4. यह एक कुरानी आयत होने के कारण इसे पढ़ने से सवाब भी हासिल होता है।
  5. सफर की दुआ पढ़ने से सफर के दौरान होने वाले हादसात से निजात मिलेगी। इंशाल्लाह!

FAQs

सफर की दुआ क्या है?

सफर की दुआ ‘सुब्हानल्लजी सख़्खरालना हाज़ा वमाकुन्ना लहु मुकरिनीन व इन्ना इला रब्बिना लमुन कलिबून’ है।

सफर में कौन सी दुआ पढ़े?

सफर में ‘सुब्हानल्लजी सख़्खरालना हाज़ा वमाकुन्ना लहु मुकरिनीन व इन्ना इला रब्बिना लमुन कलिबून’ इस दुआ को पढ़े।

सफर की दुआ कब पढ़ी जाए?

सफर की दुआ सवारी पर सवार होते वक्त पढ़ी जाए, सफर की दुआ पढ़ने का सबसे सही समय यही है तो आप भी सफर की दुआ इसी वक्त पढ़े।

कुरान में सफर की दुआ कहां है?

कुरान में सफर की दुआ 43 वां पारा में सूरह अज़-जुख्रुफ के आयत 13-14 में है।

आख़िरी बात

आप ने इस पैग़ाम में सफर की दुआ हिंदी में जाना यही वह दुआ है जिसे आपको सफर के वक्त पढ़ना चाहिए साथ ही साथ आप ने सफर से मुतालिक सभी दुआएं पढ़ने का तरीक़ा भी जाना की सफर में इस दुआ को इस ऐन वक्त में पढ़ना चाहिए क्यूंकि हमने सफर की दुआ में आपको बताया भी है कि इस वक्त पर इस दुआ को पढ़ें।

आज के इस दौर में हम सभी हिफाज़त चाहते हैं और ज़िंदगी के सफर के साथ साथ अपने ज़िंदगी में की जाने वाली सफर में भी हम अपना रक्षा चाहते हैं की किसी भी तरह का अनहोनी न हो, ऐसे में हम सभी का हिफाज़त हमारा रब ही करता है इसलिये उसकी पाबंद बने और दुआ पढ़ें।

अगर यह पैगाम आपको अच्छा लगा हो तो इससे सभी अपने अज़ीजो अकारीब और आशीके रसूल तक पहुंचाएं और सवाबे दारैन हासिल करें अगर यहां पर आप को सवाल या सुझाव देना पूछना या देना चाहे तो कॉमेंट बॉक्स के माध्यम से पूछ या बता सकते हैं मैं आपके क्वेरी का जवाब जल्द दूंगा।

My name is Muhammad Ittequaf and I'm the Editor and Writer of Zoseme. I'm a Sunni Muslim From Ranchi, India. I've experience teaching and writing about Islam Since 2019. I'm writing and publishing Islamic content to please Allah SWT and seek His blessings.

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